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IBPS SO राजभाषा अधिकारी प्रोफेशनल नॉलेज हिंदी क्विज़ : 8 जनवरी 2020

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IBPS SO राजभाषा अधिकारी मेन्स परीक्षा 25 जनवरी 2020 को आयोजित की जानी है। आईबीपीएस एसओ परीक्षा की संरचना अन्य परीक्षाओं की तुलना में बहुत अलग है। आईबीपीएस एसओ  राजभाषा अधिकारी की मुख्य परीक्षा में भी नेगेटिव मार्किंग है, जिसमें प्रत्येक गलत उत्तर पर 0.25 अंक आपके द्वारा प्राप्त अंकों से घटा दिए जायेंगे। जो उम्मीदवार प्रीलिम्स परीक्षा में सफल होते हैं, उन्हें IBPS SO की मेंस परीक्षा देनी होगी। IBPS SO राजभाषा अधिकारी परीक्षा 2019 में आपसे प्रोफेशनल नॉलेज के प्रश्न पूछे जाते हैं।  इसलिए, ADDA247 ने पहले ही आपके साथ राजभाषा अधिकारी स्टडी प्लान साझा कर दिया है,  जो आपको मेंस परीक्षा के हिंदी प्रश्नों को हल करने में बहुत सहायक होगा। नीचे 08 जनवरी 2020  की IBPS SO राजभाषा अधिकारी हिंदी क्विज़ दी जा रही है, इस अपठित गद्यांश से सम्बन्धित प्रश्नों की  क्विज़ के साथ तैयारी करें और सफलता पायें। 


निर्देश(1 से 10) : नीचे दिए गए गद्यांश को ध्यानपूर्वक पढ़िए और उस पर आधारित प्रश्नों के उत्तर दीजिए। कुछ शब्दों को मोटे अक्षरों में मुद्रित किया गया है, जिससे आपको कुछ प्रश्नों के उत्तर देने में सहायता मिलेगी। गद्यांश के अनुसार, दिए गए विकल्पों में से सबसे उपयुक्त का चयन कीजिए। 
    
सौर ऊर्जा वह उर्जा है जो सीधे सूर्य से प्राप्त की जाती है। सौर ऊर्जा ही मौसम एवं जलवायु का परिवर्तन करती है। यहीं धरती पर सभी प्रकार के जीवन (पेड़-पौधे और जीव-जन्तु) का सहारा है। वैसे तो सौर उर्जा को विविध प्रकार से प्रयोग किया जाता है, किन्तु सूर्य की उर्जा को विद्युत उर्जा में बदलने को ही मुख्य रूप से सौर उर्जा के रूप में जाना जाता है। सूर्य की उर्जा को दो प्रकार से विद्युत उर्जा में बदला जा सकता है। पहला प्रकाश-विद्युत सेल की सहायता से और दूसरा किसी तरल पदार्थ को सूर्य की उष्मा से गर्म करने के बाद इससे विद्युत जनित्र चलाकर। सूर्य एक दिव्य शक्ति स्रोतशान्त व पर्यावरण सुहृद प्रकृति के कारण नवीकरणीय सौर ऊर्जा को लोगों ने अपनी संस्कृति व जीवन यापन के तरीके के समरूप पाया है। विज्ञान व संस्कृति के एकीकरण तथा संस्कृति व प्रौद्योगिकी के उपस्करों के प्रयोग द्वारा सौर ऊर्जा भविष्य के लिए अक्षय ऊर्जा का स्रोत साबित होने वाली है। भारत में सौर ऊर्जा हेतु विभिन्न कार्यक्रमों का संचालन भारत सरकार के नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय द्वारा किया जाता है। भारत की घनी आबादी और उच्च सौर आतपन सौर ऊर्जा को भारत के लिए एक आदर्श ऊर्जा स्रोत बनाता है। किंतु सौर ऊर्जा निरंतर खर्चीली है और इस पर भारी निवेश की जरूरत पड़ती है। सौर ऊर्जा का स्‍वरूप अस्थिर है जिससे इसे ग्रिड में समायोजित करना मुश्किल होता है। लोगों की जागरुकता का अभाव, उच्‍च उत्‍पादन लागत तथा वर्तमान ऊर्जा को छोड़ने की सीमाएं एवं पारेषण (ट्रांसमशिन) नेटवर्क को देशभर में सौर ऊर्जा क्षमता के भरपूर दोहन की दि‍शा में मुख्‍य बाधा के रूप में माना गया है। हैंडबुक ऑन सोलर रेडिएशन ओवर इंडिया के अनुसार, भारत के अधिकांश भाग में एक वर्ष में 250-300 धूप निकलने वाले दिनों सहित प्रतिदिन प्रति वर्गमीटर 4-7 किलोवाट घंटे का सौर विकिरण प्राप्त होता है। राजस्थान और गुजरात में प्राप्त सौर विकिरण, उड़ीसा में प्राप्त विकिरण की अपेक्षा ज्यादा है। देश में 30-50 मेगावाट/ प्रतिवर्ग किलोमीटर छायारहित खुला क्षेत्र होने के बावजूद उपलब्‍ध क्षमता की तुलना में देश में सौर ऊर्जा का दोहन काफी कम है (जो 31-5-2014 की स्थिति के अनुसार 2647 मेगावाट है)। सौर ऊर्जा, जो रोशनी व उष्मा दोनों रूपों में प्राप्त होती है, का उपयोग कई प्रकार से हो सकता है। सौर उष्मा का उपयोग अनाज को सुखाने, जल उष्मन, खाना पकाने, प्रशीतलन, जल परिष्करण तथा विद्युत ऊर्जा उत्पादन हेतु किया जा सकता है। फोटो वोल्टायिक प्रणाली द्वारा सौर प्रकाश को बिजली में रूपान्तरित करके रोशनी प्राप्त की जा सकती है, प्रशीतलन का कार्य किया जा सकता है, दूरभाष, टेलीविजन, रेडियो आदि चलाए जा सकते हैं, तथा पंखे व जल-पम्प आदि भी चलाए जा सकते हैं। सौर ऊर्जा से गरम जल की प्राप्ति होती है |सौर-उष्मा पर आधारित प्रौद्योगिकी का उपयोग घरेलू, व्यापारिक व औद्योगिक इस्तेमाल के लिए जल को गरम करने में किया जा सकता है। देश में पिछले दो दशकों से सौर जल-उष्मक बनाए जा रहे हैं। लगभग 4,50,000 वर्गमीटर से अधिक क्षेत्रफल के सौर जल उष्मा संग्राहक संस्थापित किए जा चुके हैं जो प्रतिदिन 220 लाख लीटर जल को 60-70° से० तक गरम करते हैं। भारत सरकार का अपारम्परिक ऊर्जा स्रोत मंत्रालय इस ऊर्जा के उपयोग को प्रोत्साहन देने हेतु प्रौद्योगिकी विकास, प्रमाणन, आर्थिक एवं वित्तीय प्रोत्साहन, जन-प्रचार आदि कार्यक्रम चला रहा है। इसके फलस्वरूप प्रौद्योगिकी अब लगभग परिपक्वता प्राप्त कर चुकी है तथा इसकी दक्षता और आर्थिक लागत में भी काफी सुधार हुआ है। वृहद् पैमाने पर क्षेत्र-परिक्षणों द्वारा यह साबित हो चुका है कि आवासीय भवनों, रेस्तराओं, होटलों, अस्पतालों व विभिन्न उद्योगों (खाद्य परिष्करण, औषधि, वस्त्र, डिब्बा बन्दी, आदि) के लिए यह एक उचित प्रौद्योगिकी है। सौर उष्मा द्वारा खाना पकाने से विभिन्न प्रकार के परम्परागत ईंधनों की बचत होती है। 



Q1. गद्यांश के अनुसार, सौर उर्जा को मुख्य रूप से किस रूप में जाना जाता है? 
 (a) नाभिकीय उर्जा का विद्युत उर्जा में रूपान्तरण,
(b) सूर्य की उर्जा का विद्युत उर्जा में रूपान्तरण,
(c) सूर्य की उर्जा का ताप में रूपान्तरण,
(d) सूर्य की उर्जा का नाभिकीय उर्जा में रूपान्तरण,
(e) इनमें से कोई नहीं

Q2. सूर्य की उर्जा को विद्युत् उर्जा में बदलने का पहला प्रकार, किसकी सहायता से निर्मित होता है?
 (a) प्रकाश-सूर्य सेल
(b) प्रकाश-सौर सेल
(c) प्रकाश-विद्युत सेल 
(d) सूर्य-विद्युत सेल
(e) इनमें से कोई नहीं


Q3. भारत में सौर ऊर्जा हेतु विभिन्न कार्यक्रमों का संचालन भारत सरकार के किस मंत्रालय द्वारा किया जाता है?
 (a)  वित्त मंत्रालय
(b) नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय
(c) शहरी विकास मंत्रालय
(d) ग्रामीण विकास मंत्रालय
(e) इनमें से कोई नहीं


Q4. गद्यांश के अनुसार, सौर उर्जा के भरपूर दोहन की दिशा में मुख्य बाधा के रूप में क्या नहीं है?
 (a) लोगों की जागरुकता का अभाव
(b) वर्तमान ऊर्जा को छोड़ने की सीमाएं
(c) उच्‍च उत्‍पादन लागत
(d) सौर उर्जा की अनुपलब्धता
(e) इनमें से कोई नहीं


Q5. गद्यांश के अनुसार, सौर उर्जा किन दो रूपों में प्राप्त होती है?
(a) वाष्प और द्रव
(b) विद्युत और वाष्प
(c) तरल और गैस
(d) इनमें से कोई नहीं
(e) रोशनी व ऊष्मा


Q6. गद्यांश के अनुसार, राजस्थान और गुजरात में प्राप्त सौर विकिरण, किस राज्य में प्राप्त विकिरण की अपेक्षा ज्यादा है?
(a) हिमाचल
(b) उड़ीसा
(c) असम
(d) केरल
(e) इनमें से कोई नहीं


Q7. किस प्रणाली द्वारा सौर प्रकाश को बिजली में रूपान्तरित करके रोशनी प्राप्त की जा सकती है?
(a) फोटो वोल्टायिक प्रणाली
(b) उष्मीय विकिरण प्रणाली 
(c) तापीय उर्जा प्रणाली
(d) पवन उर्जा प्रणाली
(e) इनमें से कोई नहीं
Q8.गद्यांश के अनुसार, देश में पिछले कितने दशकों से सौर जल-उष्मक बनाए जा रहे हैं।
(a) पांच दशकों
(b) तीन दशकों
(c) चार दशकों
(d) दो दशकों
(e) इनमें से कोई नहीं

Q9. सौर उष्मा द्वारा खाना पकाने से किस प्रकार के ईंधनों की बचत होती है?
 (a) रासायनिक ईंधन
(b) गैर-परम्परागत ईंधन
(c) परम्परागत ईंधन
(d) मौजूदा ईंधन
(e) इनमें से कोई नहीं


Q10. गद्यांश में प्रयुक्त शब्द ‘परिपक्वता’ का कौन सा विकल्प समानार्थी अर्थ नहीं देता है?
(a) अपादमस्तक
(b) सम्पूर्णता
(c) प्रौढ़ता
(d) सिद्धता
(e) इनमें से कोई नहीं 

Directions (11-15) नीचे दिए गए गद्यांश को ध्यानपूर्वक पढ़िए और उस पर आधारित प्रश्नों के उत्तर दीजिए।   

कवि अपनी कल्पना के पंखों से इसी विश्व के गीत लेकर अनन्त आकाश में उड़ता है और उन्हें मुक्त व्योम में बिखरा कर अपने भाराक्रान्त हृदय को हल्का कर फिर अपने विश्वनीड़ में लौट आता है। इसी से कवि को विश्राम और स्वास्थ्य मिलता है और स्वस्थ होकर वह नूतन प्रभात में नूतन हृदय में नित्य नूतन संसार का स्वागत करता है। यदि ऐसा न हो तो कवि भी अन्य सांसारिक प्राणियों की भाँति ही, विश्व के कोलाहल में अपने आप को खो दे तथा उसके द्वारा संसार को वे अमृत गीत न मिलें जिनके सरल शीतल स्रोत में बहकर मानव-जगत् अपने सन्तप्त प्राणों को कुछ क्षण जुड़ा लेता है।

Q11. संसार में कवि का हृदय भाराक्रान्त होता है क्योंकि
(a) उसे हर समय सांसारिक दुःख-द्वन्द्वों से गुजरना पड़ता है
(b) उसे घर-गृहस्थी का भार ढोना पड़ता है
(c) अनेक तरह के भावों और विचारों का द्वन्द्व उसके मन में होता रहता है
(d) कविता के भावों से उसका हृदय भरा रहता है जिनकी अभिव्यक्ति के लिए उसका कल्पनालोक में विचरण आवश्यक होता है
(e) इनमें से कोई नहीं

Q12. ‘व्योम’ शब्द के लिए पर्यायवाची शब्द है
(a) पाताल
(b) आकाश
(c) स्वर्ग
(d) लोकातीत
(e) इनमें से कोई नहीं

Q13. उपर्युक्त अवतरण का उपयुक्त शीर्षक होगा
(a) कल्पनालोक का प्राणी कवि
(b) अमृतगीत का रचयिता कवि
(c) कवि और उसका निराला संसार
(d) संसार को कवि का अवदान
(e) इनमें से कोई नहीं

Q14. कवि कल्पना के अनन्त आकाश में इसलिए उड़ता है कि
(a) उसका हृदय भाराक्रान्त होता है
(b) वह संसार से दूर भागना चाहता है
(c) वह मुक्त व्योम को अपना गीत सुनाना चाहता है
(d) कल्पना-लोक में विचरण करना कवि के व्यापार का मुख्य अंग है
(e) इनमें से कोई नहीं

Q15. यदि कवि अपने कल्पना-लोक में विचरण न करता, तो
(a) उसका जीवन संसार में दूभर हो जाता
(b) वह संसार में अपना अस्तित्व खो बैठता
(c) वह संसार को सुंदर काव्य रचनाएँ न दे पाता
(d) संसार कवि की कविता से वंचित होकर रहने योग्य स्थान न रह जाता
(e) इनमें से कोई नहीं

           

उत्तर-  

 

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