प्रतियोगी परीक्षाओं में सफलता प्राप्त करने के लिए समर्पण, स्पष्ट रणनीति और अडिग फोकस की आवश्यकता होती है. आज यहाँ आपके साथ एक ऐसे उम्मीदवार श्रीजीत मोंडल की सफलता की कहानी शेयर कर रहे है, जिन्होंने अपने पहले प्रयास में ही SBI PO बनने का सपना साकार किया, जो भावी उमीदवार के लिए दृढ़ संकल्प और स्मार्ट तैयारी का एक प्रेरणादायक उदाहरण है. सितंबर में अपनी तैयारी शुरू करते हुए, श्रीजीत को क्वांटिटेटिव एप्टीट्यूड और इंग्लिश में अपनी क्षमताओं पर पूरा भरोसा था। हालाँकि, रीजनिंग उनका कमजोर पक्ष था। लेकिन उन्होंने अपनी मेहनत से इस चुनौती को पार किया और अपने सपने को साकार किया.
Success Story of Srijit Mondal
श्रीजीत ने अपनी SBI PO की तैयारी अपनी कमजोरियों और मजबूत एरियाज की पहचान करके शुरू की। क्वांटिटेटिव एप्टीट्यूड और इंग्लिश में मजबूत होने के कारण, उन्होंने रीजनिंग कौशल को सुधारने पर ज्यादा ध्यान केंद्रित किया, जिसमें शुरू में उन्हें केवल 10-12 अंक मिलते थे. इस दौरान, सौरव सर के वीडियो उनके लिए गेम-चेंजर साबित हुए. सौरव सर द्वारा सिखाई गई रणनीतियों और शॉर्टकट्स को नियमित रूप से फॉलो करके, श्रीजीत ने रीजनिंग में अपनी समझ और सटीकता को बेहतर बनाया। उनकी इस सेक्शन में स्कोर धीरे-धीरे बढ़कर 30+ तक पहुँच गया, जो उनकी मेहनत और विशेषज्ञ मार्गदर्शन का परिणाम था।
ADDA247 द्वारा प्रदान की गई मॉक टेस्ट सीरीज़ ने उनकी तैयारी में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। विभिन्न कठिनाई स्तरों और उच्च गुणवत्ता वाले प्रश्नों को कवर करने वाले कई टेस्टों ने उन्हें परीक्षा का को समझने और समय प्रबंधन कौशल विकसित करने में मदद की. श्रीजीत इन मॉक टेस्ट्स को अपनी परीक्षा-तैयारी का सबसे बड़ा कारण मानते हैं, क्योंकि उन्होंने SBI PO परीक्षा के पैटर्न और कठिनाई स्तर को अच्छा मिश्रण था. मॉक टेस्ट्स में अपने प्रदर्शन का नियमित विश्लेषण और प्रैक्टिस ने उन्हें अपनी रणनीति को परिष्कृत करने और प्रतियोगिता में आगे रहने में मदद की।
सितंबर से मार्च तक की श्रीजीत की लक्ष्य केंद्रित तैयारी की ताकत को दर्शाती है। केवल छह महीनों में, उन्होंने अपनी कमजोरियों को अपनी ताकत में बदल दिया और SBI PO बनने का सपना पूरा किया। उनकी कहानी उन उम्मीदवारों को प्रेरित करती है जो खुद पर विश्वास रखते हैं, कड़ी मेहनत करते हैं, और सही संसाधनों का उपयोग करके अपनी महत्वाकांक्षाओं को वास्तविकता में बदलते हैं.
जो छात्र ऐसी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे हैं, उनके लिए श्रीजीत की सफलता यह साबित करती है कि समर्पण और सही दृष्टिकोण के साथ कुछ भी असंभव नहीं है.
उन्हें भी पढ़ें