Bank PO और Bank Clerk में क्या अंतर है?-
बैंक परीक्षा इन दिनों सबसे लोकप्रिय सरकारी परीक्षाओं में से एक है. इसका कारण बैंकिंग डोमेन द्वारा पेश किए गए आकर्षक कैरियर विकल्प ( lucrative career options) हैं. इस बैंकिंग डोमेन के अवसर उम्मीदवारों के सभी वर्गों के लिए हैं जो इसे उम्मीदवारों के बीच और भी अधिक desirable बनाता है. लाभ और भत्ते ( perks, allowances) कुछ प्रमुख आकर्षक कारणों (major attractive reasons) के साथ-साथ बैंकिंग क्षेत्र में designation के साथ handsome salary दी जा रही हैं.
बैंकिंग क्षेत्र में प्रोबेशनरी ऑफिसर और क्लर्क दो पदों पर सबसे अधिक भर्ती की जाती है. कोई भी फ्रेशर इन पदों पर भर्ती के लिए आवेदन कर सकता है और बैंकिंग क्षेत्र में जॉब प्राप्त कर सकते हैं. PO और क्लर्क के पद बैंकिंग परीक्षा की तैयारी करने वाले स्टूडेंट्स के बीच बहुत अधिक लोकप्रिय है. हर साल करोड़ों स्टूडेंट्स इन दो पदों में भर्ती के लिए प्रयास करते हैं और बैंक भी इन्हीं पदों पर सबसे अधिक रिक्तियां भी जारी करते हैं. इस लेख में हम PO और क्लर्क के बीच का अंतर बताएँगे.
इन पदों पर भर्ती कराने के लिए दो निकाय (Name of the Conducting Body) परीक्षाएं आयोजित कराते हैं :
IBPS – Institute of Banking Personnel Selection
SBI – State Bank of India
What is the difference between a PO and a Clerk Job in Banks? | Bank PO vs Bank Clerk – Which is Better?
सबसे पहले कार्य और जिम्मेदारियों में क्या अंतर है यह जानने का प्रयास करते हैं –
Bank PO और Bank Clerk के बीच सबसे बड़ा अंतर स्थिति, वेतन और नौकरी की भूमिका का पदानुक्रम है। पीओ क्लर्क की तुलना में अधिक श्रेष्ठ पद है और लिपिक पद के पर्यवेक्षक के रूप में जिम्मेदार है।
Bank PO : Work & responsibilities (बैंक पीओ के कार्य और जिम्मेदारियां क्या हैं )
- एक बैंक PO को Probation period के पूरा होने से पहले किसी भी तरह का Work दिया जा सकता है, जैसे क्लर्क या असिस्टेंट की Responsibility भी संभालने को दी जा सकती हैं. जिससे उनका परिचय बैंक के विभिन्न working procedures से हो सके.
- probation period के दौरान finance, accounting, marketing, billing के साथ-साथ investment के व्यावहारिक ज्ञान की training दी जाती है, इसके साथ ही routine works जैसे scrolling, posting, account preparation आदि का कार्य भी दे दिया जाता है.
- probation period पूरा होने के बाद बैंक PO को किसी भी शाखा में असिस्टेंट बैंक मैनेजर के रूप में नियुक्त किया जाता है. जहाँ पर PO दैनिक ग्राहक लेनदेन, चेक पास करना, ड्राफ्ट जारी करना, cash management आदि करता है
- बैंक business को बढ़ाने की दिशा में काम करना होगा. cash flow, loans और mortgages और finances को मैनेज करना.
- पीओ की एक अन्य जिम्मेदारी जनसंपर्क अधिकारी(public relations officer) के रूप में कार्य करना, ग्राहकों की शिकायतों को हैंडल करना और विभिन्न ग्राहकों से संबंधित मुद्दों जैसे कि खाता में कोई समस्या, अनुचित शुल्क को सुधारना और बैंक द्वारा प्रदान की गई सेवाओं से संबंधित complaints को देखना है.
- जब बैंक के माहौल के प्रति सजग हो जाता है और अपने व्यक्तिगत कौशल और योग्यता के आधार पर बैंक की कार्य प्रक्रियाओं का पर्याप्त अनुभव प्राप्त करता है, तो कुछ अन्य जिम्मेदारियां भी सौंपी जा सकता है जैसे planning, budgeting, marketing, loan processing and approval, investment management आदि.
- बैंक PO के कार्य में मैनेजर के कार्य भी शामिल होते हैं, जैसे clerical कार्य की निगरानी, बैंक के लाभ के लिए decisions लेना, cash balance का प्रबंधन करना आदि
- वह loan संबंधी documents का ध्यान रखता है और आवश्यकता पड़ने पर ऋण लेने वाली पार्टियों की site visit करता है।
- एक बैंक PO ATM कार्ड, चेक बुक, डिमांड ड्राफ्ट आदि जारी करता है.
- एक PO को सभी परिपत्रों को पढ़ना आवश्यक है और bank management द्वारा लिए गए सभी decisions के बारे में पता होना चाहिए
Bank Clerk : Work & responsibilities (बैंक क्लर्क के कार्य और जिम्मेदारियां क्या हैं )
- बैंक में क्लर्क दस्तावेजों और स्टेटमेंट को verify करता हैं.
- नियमित अंतराल पर बैंक पासबुक को अपडेट करना.
- बैंक में नगद और विभिन्न दस्तावेजों आदि के लिए एक क्लर्क ही जिम्मेदार होता है.
- वह ग्राहक द्वारा निकासी पर प्रतिबंध लगाता है.
- वह बैंक बैलेंस शीट, खाता बही इत्यादि जैसे विभिन्न चीजों की देख रेख करता है.
- वह विभिन्न सरकारी योजनाओं के बारे में जानकारी प्रदान करता है और ग्राहक की समस्या का समाधान करता है.
- राजकोष कार्यों में भाग लेना, नकदी का वितरण, नकदी का जमा और अन्य विविध कार्य.
बैंकों में ग्रोथ की अधिक संभावनाएं होती हैं. एक क्लर्क अपने अनुभव के आधार पर जनरल मैनेजर भी बन सकता हैं. पदोन्नति प्रक्रिया के अनुसार, उम्मीदवारों को उनके प्रदर्शन के आधार पर उच्च पद पर पदोन्नत किया जाएगा. 3 साल तक काम करने के बाद उसे आंतरिक परीक्षा के माध्यम से प्रोबेशनरी ऑफिसर / असिस्टेंट मैनेजर के पद पर पदोन्नत किया जाएगा. क्लर्क के रूप में अपना करियर शुरू करने के बाद, आप एसोसिएट परीक्षा: JAIIB और CAIIB प्रमाणन परीक्षा के लिए भी उपस्थित हो सकते हैं, जिसके माध्यम से आप आगे बढ़ सकते हैं.
Bank PO और Bank Clerk की सैलरी में क्या है अंतर
PO Salary: probationary officera की सैलरी लगभग 40,000-42,000 होती हैं.
Clerk salary- क्लर्क की सैलरी लगभग 20,000-25,000 के बीच होती है.
Bank PO और Clerk Career growth की संभावनाएं
बैंक PO का प्रमोशन आमतौर पर 2 साल की अवधि के भीतर होता है जबकि बैंक क्लर्क की बात करें, तो इसमें एक पद से दूसरे पद (from one post to the other) पर पदोन्नति (Promotion) पाने में थोड़ा अधिक समय लगता है. पद या designation के संबंध में बैंक PO और बैंक Clerk promotion (पदोन्नति) नीचे दिया गया है:
प्रोबेशनरी ऑफिसर एक ऐसी नौकरी है जो आपको कुछ बेहतरीन करियर ग्रोथ के अवसर दे सकती है. नीचे एक प्रोबेशनरी ऑफिसर के कैरियर ग्रोथ की जानकारी दी गई है –
Bank PO
↓
Assistant Manager
↓
Branch Manager
↓
Chief Manager
↓
AGM
↓
DGM
↓
CGM
↓
GM
बैंक क्लर्क एक ऐसी नौकरी है जो बैंकिंग क्षेत्र में काम करने के लिए आपके सपने को पूरा करने का काम कर सकती है और कुछ बेहतरीन करियर ग्रोथ के अवसर प्रदान करती है. नीचे दिए गए एक बैंक क्लर्क के कैरियर के विकास पद के अनुसार की तालिका है
Clerk
↓
Officer
↓
Senior Officer
↓
Assistant Manager
↓
Manager
↓
Senior Manager
↓
Chief Manager
↓
AGM
↓
DGM
↓
GM
↓
ED
↓
CMD
जैसा कि आप देख सकते हैं कि दोनों पोस्ट आपके करियर को एक शानदार शुरुआत देते हैं, साथ में करियर ग्रोथ की संभावनाएं भी हैं.
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