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All you need to know: RBI ने बदले बैंक लॉकर के नियम, जानिये, नई गाइडलाइन्स होंगी कितनी फायदेमंद (RBI issued revised guidelines for hiring of locker facility provided by banks)- करेंट अफेयर्स स्पेशल सीरीज

All you need to know: RBI ने बदले बैंक लॉकर के नियम, जानिये, नई गाइडलाइन्स होंगी कितनी फायदेमंद (RBI issued revised guidelines for hiring of locker facility provided by banks)- करेंट अफेयर्स स्पेशल सीरीज | Latest Hindi Banking jobs_2.1
RBI issued revised guidelines for hiring of locker facility: बैंकों द्वारा प्रदान की जाने वाली सुरक्षित जमा लॉकर/सुरक्षित अभिरक्षा सामग्री सुविधा – संशोधित अनुदेश

बैंकों द्वारा प्रदान की जाने वाली लॉकर सुविधा को किराए पर लेने के लिए भारतीय रिज़र्व बैंक ने संशोधित दिशानिर्देश ज़ारी किए –

 RBI revises guidelines for the hiring of bank lockers | All you need to know


बैंकिंग और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में हुए विभिन्न विकासों, उपभोक्ताओं की शिकायतों की प्रकृति और बैंकों से प्राप्त प्रतिक्रिया (फीडबैक) के मद्देनजर भारतीय रिज़र्व बैंक ने लॉकर और सुरक्षित अभिरक्षा सुविधा के लिए संशोधित दिशानिर्देश ज़ारी किया है।

संशोधित दिशानिर्देशों के बारे में एक अधिसूचना, भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा ज़ारी की गई थी और यह 1 जनवरी, 2022 से प्रभावी होगी। दिये गए दिशानिर्देश सभी नए और मौजूदा लॉकरों पर लागू होंगे। पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए भारतीय रिज़र्व बैंक ने सभी बैंकों को निर्देश दिया है कि उन्हें खाली लॉकरों (vacant lockers) की एक शाखावार सूची और एक प्रतीक्षा सूची (wait-list) बनानी होगी। सभी बैंकों को भारतीय बैंकिंग संघ द्वारा तैयार किए जाने वाले मॉडल लॉकर समझौते का भी पालन करना होगा। इस मॉडल लॉकर समझौते मे ग्राहक को बैंक लॉकर में अवैध या खतरनाक वस्तुओं को रखने से रोकने वाला एक खंड/भाग भी होगा।

  • भारतीय रिज़र्व बैंक ने अपने दिशानिर्देश में यह स्पष्ट किया है कि प्राकृतिक आपदाओं से होने वाले नुकसान के लिए बैंक जिम्मेदार नहीं हो सकते हैं, लेकिन बैंको को अपने परिसर में मौजूद लॉकरों को ऐसे किसी प्रकार की आपदाओं से बचाने के लिए उचित क़दम उठाने चाहिए।
  •  भारतीय रिज़र्व बैंक ने एक अधिसूचना में कहा कि आगजनी, डकैती या किसी कर्मचारी द्वारा की गई धोखाधड़ी जैसी घटनाओं के मामले में बैंक की देनदारी, लॉकर के वार्षिक किराए के सौ गुना होगी। 
  • ग़ैर-ग्राहकों की लॉकर सुविधा को उचित आवेदन और इसकी मंजूरी के बाद बढ़ाया जा सकता है; बैंकों को मौजूदा लॉकर धारकों या संतोषजनक सक्रिय/चालू खाताधारकों से किसी भी सावधि/मियादी ज़मा (Term Deposits) पर जोर नहीं देना चाहिए।
  •  यदि किसी ग्राहक द्वारा लगातार तीन वर्षों से किराए का भुगतान नहीं किया गया है, तो ऐसे में बैंकों को उचित प्रक्रिया का पालन करते हुए ऐसे किसी भी लॉकर को तोड़ने और खोलने में सावधानी/समझदारी बरतनी चाहिए।
  • भारतीय रिज़र्व बैंक ने सभी बैंकों को सलाह दी है कि नामांकित व्यक्ति को नामांकन और सामग्री ज़ारी करने तथा अन्य व्यक्तियों द्वारा किए जा रहे दावों के लिए/ख़िलाफ़ सुरक्षा के लिए बोर्ड द्वारा अनुमोदित नीति होनी चाहिए। 
  • दावे की प्राप्ति की तारीख से 15 दिनों के भीतर बैंकों को दावों का निपटान/समाधान करना होगा और लॉकर की सामग्री को उत्तरजीवी/नामितियों को ज़ारी करना होगा, बशर्ते इसके लिए उत्तरजीवी/नामितियों को जमाकर्ता की मृत्यु का प्रमाण प्रस्तुत किया जाना चाहिए।

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